Sunday, December 22, 2024
https://khatpatnews.com/wp-content/uploads/2024/11/digital-ad-4-november-copy.jpg
https://khatpatnews.com/wp-content/uploads/2024/10/kpt-advt-November-24-scaled.jpg
https://khatpatnews.com/wp-content/uploads/2024/11/20x10.pdf
Homeकवर्धाशंकर लाल रजक की अपील निरस्त, 3-3 साल की कैद कायम, भेजा...

शंकर लाल रजक की अपील निरस्त, 3-3 साल की कैद कायम, भेजा गया जेल

कोरबा( खटपट न्यूज़)। एसईसीएल में नौकरी लगवाने के नाम पर ठगी के मामले में जेल दाखिल और जमानत मुचलका पर बाहर आए शंकर लाल रजक को फिर से जेल दाखिल करा दिया गया है। निचली अदालत द्वारा शंकर रजक को प्राप्त 3-3 साल के सश्रम कारावास को अपील निरस्त कर यथावत रखा गया है।
न्यायालयीन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कोरबा जिले के कटघोरा थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम हुंकरा निवासी शंकर लाल रजक के विरुद्ध कबीरधाम जिले के कवर्धा थाना में 16 मार्च 2018 को धनेश कौशिक की रिपोर्ट पर धारा 420 के तहत एफआईआर दर्ज हुई थी। धनेश को एसईसीएल में नौकरी लगवाने का झांसा देकर शंकर रजक ने 2 लाख 25000 रुपये लिए थे। शेष 75000 की रकम दो किस्तों में धनेश कौशिक ने लक्ष्मी महंत के खाता जमा कराया था। महेंद्र कौशिक के मार्फत नौकरी लगाने की बातचीत हुई थी। कटघोरा आकर शंकर रजक को यह रकम पीड़ित धनेश कौशिक ने दी थी। वर्ष 2013 के दिसंबर माह में रुपए देने के बाद भी न तो नौकरी मिली और न ही रुपए वापस हुए। 5 साल इंतजार के बाद धनेश की रिपोर्ट पर कवर्धा पुलिस ने अपराध दर्ज कर आरोपी को जेल भेजा। कई महीने जेल में रहने के बाद शंकर रजक जमानत-मुचलका पर बाहर आया। उक्त प्रकरण में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट कवर्धा नरेंद्र कुमार के द्वारा शंकर लाल रजक को 27 लोगों से नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी के मामले में तीन-तीन वर्ष का सश्रम कारावास एवं 27 पीड़ितों के लिए 200-200 रुपये के मान से 5400 रुपए अर्थदंड की सजा से दंडित किया गया।
0 सिविल प्रकृति का विवाद बताने की कोशिश विफल
सीजेएम नरेंद्र कुमार द्वारा 18 जनवरी 2020 को सुनाए गए इस फैसले के विरुद्ध शंकर रजक ने अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश पंकज शर्मा के न्यायालय में अपील प्रस्तुत किया। शंकर रजक के द्वारा इस पूरे मामले को सिविल विवाद होना बताते हुए गलत रूप से आपराधिक प्रकरण बताकर पेश करना बताया जाकर आग्रह करते हुए दण्डादेश को अपास्त करने की अपील की। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश पंकज शर्मा के द्वारा इस अपील पर सुनवाई करते हुए 9 दिसंबर 2021 को दिए गए अपने फैसले में पूर्व के निर्णय को सही ठहराते हुए शंकर लाल रजक का जमानत मुचलका निरस्त कर उसके आवेदन को अपास्त किया गया। इसके साथ ही शंकर रजक को जेल भेजने के निर्देश दिए गए। उसे तीन-तीन वर्ष का सश्रम कारावास एवं 5400 रुपये अर्थदंड से दंडित किया गया है। अर्थदंड की राशि भुगतान न करने पर तीन-तीन माह का अतिरिक्त साधारण कारावास भुगताया जाएगा।
00 सत्या पाल 00 (7999281136)

RELATED ARTICLES

Most Popular

Recent Comments