संगोष्ठी में प्रख्यात विचारक पुष्पेन्द्र कुलश्रेष्ठ ने वैचारिक क्रांति के फायदे बताए लोगों को

कोरबा (खटपट न्यूज)। कोरबा के पंडित दीनदयाल उपाध्याय सांस्कृतिक भवन में विशेष संगोष्ठी का आयोजन किया गया। प्रख्यात विचारक पुष्पेन्द्र कुलश्रेष्ठ ने अपने ओजस्वी और तर्कपूर्ण विचारों से प्रबुद्धजनों को संबोधित किया। इस अवसर पर राष्ट्र, संस्कृति, सुरक्षा और सामाजिक चेतना जैसे विषयों पर उन्होंने गहन विमर्श किया। संगोष्ठी में उपस्थित प्रबुद्ध वर्ग ने बड़ी गंभीरता और एकाग्रता के साथ उनके विचारों को सुना और समझा। कार्यक्रम ने राष्ट्रवाद की अवधारणा को नए दृष्टिकोण के साथ प्रस्तुत किया।
राष्ट्रवादी विचार मंच कोरबा द्वारा आयोजित संगोष्ठी को संबोधित करते हुए राष्ट्रवादी विचारक पुष्पेंद्र कुलश्रेष्ठ ने बताया कि पाकिस्तान के निर्माण में जिन्ना की नहीं बल्कि कई और लोगों की भूमिका थी। उन्होंने अल्लामा इकबाल के शेर के जरिए इस बात को स्पष्ट किया। पुष्पेंद्र ने इस बात पर भी हैरानी जताई कि अगर किसी परिवार में बड़ी घटना हो जाती है तो इसका असर लंबे समय तक होता है। लेकिन 19 मई 1991 को राजीव गांधी की हत्या के ठीक 1 महीने बाद राजीव गांधी फाउंडेशन का गठन होना लोगों को चौकाता है। उन्होंने इस परिप्रेक्ष्य में और भी जानकारी दी। पुष्पेंद्र कुलश्रेष्ठ ने आचार्य चाणक्य को उद्धृत करते हुए बताया कि उन्होंने एक लंगोटी के दम पर उन्होंने सत्ता को घुटने पर ला दिया। कुछ तिथियों का जिक्र भी उन्होंने इस कड़ी में किया। अनेक समाचार पत्र, पत्रिका सहित टीवी चैनल में काम कर चुके पुष्पेंद्र कुलश्रेष्ठ ने कोरबा में राष्ट्रवादी विचार मंच के आयोजन के माध्यम से प्रबुद्ध वर्ग को वैचारिक क्रांति की तरफ मोडऩे का प्रयास किया। उन्होंने ज्वलन्त मुद्दों को सामने रख लोगों को बताया कि देश के सामने किस तरह के खतरे है और इनसे निपटने में हर नागरिक को अपनी भूमिका निभाने की जरूरत है। कार्यक्रम के प्रारंभ में आयोजन समिति के द्वारा कुलश्रेष्ठ का सम्मान किया गया।













